विशद कुमार
आज 17 सितम्बर को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन को उनके जनविरोधी, युवा विरोधी, रोजगार विरोधी नीतियों के कारण बनारस और बीएचयू के छात्रों-युवाओं ने राष्ट्रीय बेरोजगार दिवस के रूप में मनाकर अपना रोष और गुस्सा जाहिर किया। ज्ञात हो कि पिछले 6 सालों से मोदी सरकार लगातार निजीकरण, ठेकाकरण और संविदाकरण की नीतियों को लागू करके युवाओं के रोजगार के अवसरों को खत्म कर रही है। देश के सार्वजनिक उपक्रमों को भी लगातार पूंजीपतियों के हाथों बेचा जा रहा है, जो देश के साथ सरासर गद्दारी है। इन सबके खिलाफ आज बनारस के युवाओं ने भगत सिंह छात्र मोर्चा के नेतृत्व में एकजुट होकर जनविरोधी सरकार के खिलाफ ‘हल्ला बोल, पोल खोल’ कार्यक्रम व विरोध प्रदर्शन का आयोजन किया।
विरोध प्रदर्शन लंका गेट,बीएचयू पर किया गया। भगतसिंह छात्र मोर्चा के नीतीश ने इस प्रदर्शन में सभा का संचालन किया।
इस दौरान छात्रों ने अपनी बात रखते हुए बताया की नरेंद्र मोदी ने हर साल 2 करोड़ रोजगार और हर इंसान को 15 लाख रुपये देने की घोषणा करके सरकार बनाई थी। मगर सरकार बनाते ही अपनी सारी घोषणाओं को चुनावी जुमला बता दिया। नए रोजगार देना तो दूर बल्कि पूंजीपतियों के यार इस सरकार ने देश के साथ गद्दारी करके युवाओं के रोजगार के अवसरों को ही खत्म कर दिया।
जिस कारण आज युवा बेचैनी, मानसिक तनाव, आर्थिक परेशानियों से घिर गए हैं और आत्महत्या करने को मजबूर हो रहे हैं। पिछले दिनों ही इलाहाबाद के एक होनहार नौजवान ने बेरोजगारी से तंग आकर आत्महत्या कर ली। इस दौरान बात रखते हुए अनुपम ने कहा कि अपने हक-हुकूक की लड़ाई लड़ने वाले किसानों, मजदूरों, छात्रों, बुद्धिजीवियों को सरकार कभी लाठीचार्ज करके तो कभी जेलों में बंद करके लगातार डराने धमकाने का प्रयास कर रही है। पर अब युवा ये जान चुके है कि अब सड़क की लड़ाई से ही सरकार की कुंभकर्णी नींद को तोड़ा जा सकता है। इस दौरान ‘देश बेचवा मोदी सरकार मुर्दाबाद’ ‘बंद करो बकलोली जी, हैप्पी बर्थडे मोदीजी’ ‘निजीकरण मुर्दाबाद’ ‘जुमला नहीं रोजगार दो’ ‘मोदी सरकार होश में आओ’ आदि नारे लगाये गए।
विरोध प्रदर्शन में भुवाल यादव, दिनेश, दीपक, अर्चना, निधि सुमित, प्रवीण यादव, कबीर, पवन, शशांक, समेत सैकडों छात्र शामिल हुए।