केंद्रीय जनजाति मंत्रालय, माननीय मंत्री अर्जुन मुंडा के नाम एक किसान मजदूर का खुला पत्र!

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विषय – झारखंड मेें एक लाख तालाब की सीबीआई जांच के संबंध में.

महाशय,
झारखंड कोरोना काल के दर्दनाक दौर से गुजर रहा है. लाॅक डाउन के कारण पर्यावरण करवट बदल चुकी है. पूरा वातावरण साफ हो चुका है. तो सोचे भाजपा के बनाए एक लाख तालाब देख आए. गांव गांव तालाब की खोज आंदोलन बन गया. पर भाजपा का विकास नहीं दिखा.

हम झारखंड के विभिन्न जिलों से फोन के माध्यम से जानकारी इकट्ठा किये है. भाजपा के 16 साल के शासन के दौरान 32 हजार गांव में तालाब बनाने की शानदार योजना चलाए गये थे.
उस तालाब की उपयोग करने के लिए सही वक्त आ गया है. झारखंड राज्य के नौ लाख मजदूर अपने गांव वापस आ रहें है. गांव में कमाने और खेतों में पानी के साथ रोजगार के सृजन के लिए तालाब की बहुत आवशयकता पड़ेगी. ये मजदूर मछली पालन या अन्य काम कर जीविका चला सके.
माननीय तालाब हमें मिल नहीं रहें है. इसे खोजने में हमें सहयोग करें !
अत: आप से निवेदन है कि उन #एक_लाख तालाबों पर #सीबीआई जांच कर ग्रामीणों के तालाब सौपने की कृपा करें. जिससे किसानों और मजदूरों को भूख से मौत एवं बेरोजगारी दूर करने में सहयोग हो सकें.
धन्यवाद

निवेदन
एक झारखण्डी
किसान/ मजदूर

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